शहर सत्ता / रायपुर। शराब घोटाले को लेकर आज प्रवर्तन निदेशालय (ED) दफ्तर पहुंचे सूबे के पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा बाहर निकल गए है। तक़रीबन आठ से नौ घंटे की पूछताछ के बाद लखमा निकले और उन्होंने मीडिया से बातचीत की। लखमा ने बताया कि आज वो अपने बेटे हरीश लखमा के साथ यहाँ पूछ्ताछ के लिए बुलाए जाने पर पहुंचे थे। उन्होंने कहा कि अधिकारियों के सभी सवालों का जवाब भी उनके द्वारा दिया गया।
पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा ने पत्रकारों से चर्चा के दौरान कहा “ED के द्वारा मांगे गए दस्तावेज़ मैंने उन्हें सौंप दिए हैं, लेकिन मेरे पूछे गए सवालों का जवाब ईडी अफसरों ने नहीं दिया। मुझसे जो कागज मांगे गए थे, वो मैंने जमा किए हैं। कुछ बातें सभी ने पूछी, जिसका मैने जवाब दिया। कुछ कागज बाकी हैं, जिन्हें पेश करने के लिए मैंने और कुछ दिन का समय मांगा है। मेरी बेटी और पत्नी ने संपत्ति का ब्योरा दिया है, अभी बड़े बेटे और बहू का देना है।”
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लखमा ने आगे कहा कि “कोई बदतमीजी नहीं हुई है। चाय-नाश्ते के लिए पूछा गया था, लेकिन कोई परेशानी नहीं हुई। अंदर की बातों को सार्वजनिक करना ठीक नहीं है। मैं कांग्रेस पार्टी का सदस्य हूं और कानून को मानने वाला व्यक्ति हूं।”
बीजेपी ने लगाए है आरोप
लखमा ने इस दौरान भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि “बीजेपी ने जानबूझकर मुझे परेशान करने के लिए आरोप लगाए हैं। यह आरोप सरकार और बीजेपी के कारण मुझ पर लगाए गए हैं। मैं इस लड़ाई को अंतिम तक लडूंगा। जब तक जिंदा रहूंगा, आदिवासियों के लिए लड़ता रहूंगा।” उन्होंने आगे कहा, “मैं घोटाले को कबूल नहीं कर रहा हूं, लेकिन जांच चल रही है। अगर दो नंबर की शराब बेची गई है, तो अधिकारी के घर में तो नहीं बन रही थी ? तीन शराब बनाने वाली कंपनियां हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं हो रही ? शराब कंपनियों पर जांच करो।”