0 DHS की बजट शाखा में पदस्थापना के लिए वरिष्ठों की अनदेखी नए को जिम्मेदारी
शहर सत्ता / रायपुर। प्रदेश की सबसे संवेदनशील एवं आवश्यक विभागों में से अव्वल DHS यानि कि संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं एक बार फिर सुर्ख़ियों में हैं। CGDHS में सर्वाधिक सुर्खियां बटोरने वालों में सबसे लंबे समय तक बजट शाखा में जमे रहे फॉरेन रिटर्न सहायक अधीक्षक मदन विश्वकर्मा का रिकार्ड है। इस बार महज 6 महीने में ही बजट शाखा में तीसरी बार पोस्टिंग का पावर गेम किया गया है। जुलाई 2024 में विवादित सहायक अधीक्षक मदन विश्वकर्मा को हटाकर किसी चेतन कुंजाम को पदस्थ किया गया था। अब नई पोस्टिंग राकेश वर्मा को दी गई है। सूत्रों की माने तो 2012 से 2021 तक फिर कई बार मदन विश्वकर्मा पदस्थ रहा। लेकिंन बिना विभागीय अनुमति के सऊदी अरब, नेपाल समेत पश्चिम देशों की यात्रा के अलावा अन्य शिकायतों के मद्देनजर उसे हटा दिया गया था। बता दे जिलों से लाखों और करोड़ों रुपए की डिमांड की पूर्ति में DHS की बजट शाखा की महती भूमिका होती है। बजट आवंटन और परसेंट के झोल झाल की खबरे समाचार पत्रों की सुर्खीयां बनती रही हैं।
विभाग की 24 शाखाओं में फेरबदल
DHS की बजट शाखा में पदस्थ बाबू संवर्ग 24 शाखाओं में कार्यरत स्टाफ को फिर से बदल दिया गया है। बता दें कि साय सरकार के आते ही स्वास्थ्य विभाग के बजट शाखा में 2 जुलाई को फेरबदल किया गया था। CGDHS की विभिन्न्न शाखाओं में सहायक अधीक्षक से लेकर अधीक्षक और वर्ग एक व दो समेत अन्य का पदस्थपना आदेश जारी हुआ है। यह फेरबदल विभागीय मंत्री के पीए राजेंद्र दास और खासकर बजट शाखा के विवादित जिम्मेदारों के मुताबिक लिस्ट बनने की चर्चा है। सूत्रों की मानें तो जल्द ही बजट कंट्रोल शाखा के रूद्र प्रताप सिंह चौहान को भी स्थांनांतरित कर मदन विश्वकर्मा टाइप के किसी को पदस्थ किया जायेगा।
अनुपूरक बजट मिलने से पहले की तैयारी
DHS हो या CGMSC बहुत जल्द नवसिखुआओं और बजट गैंग में शामिल पुराने फर्माबरदारों को खास जगहों में बिठाकर एक पूरा सिस्टम अपने हाथों में रखने की यह कवायद कही जा रही है। हालांकि हाल में DHS में पदस्थ डॉ. प्रियंका शुक्ला संचालक स्वास्थ्य महकमे को हाईजैक करके रखने वालों से अनजान हैं। लेकीन अन्य इमानदार कर्मठ स्टाफ को उम्मीद है कि संचालक स्वास्थ्य सेवा सख्त मिजाज भी हैं और अनुशासनप्रिय भी तो बहुत जल्दी बजट शाखा में रैकेट चलाने वालों की कलई खुल जाएगी।
बता दें बजट शाखा से समस्त जिलों, CGMSC छत्तीसगढ़ स्टेट मेडिकल सर्विसेस कॉर्पोरेशन के तहत समय समय पर दवाइयां चिकित्सा उपकरण का क्रय किया जाता है। उल्लेखनीय है कि इस महत्वपूर्ण बजट शाखा की कुर्सी के लिए जो बाबू जद्दोहद करते हैं उनका बेसिक वेतनमान 33 से 34 हजार होता है लेकिन बजट शाखा में डिमांड और क्रय से लेकर सप्लाय की कमाई के लिए ही होड़ मची रहती है।